सीनियर रिपोर्टर- श्रीमती भगवती जोशी
फतेह नगरl मावली उपखंड के खरताणा गांव के युवक की बीते बुधवार को एमबी चिकित्सालय में इलाज के दौरान मौत होने पर परिजनों ने यहां फतेह नगर कस्बे के गोयल हॉस्पिटल के सामने धरना प्रदर्शन किया. मृतक युवक के परिजनों का आरोप है कि गोयल हॉस्पिटल के इलाज में लापरवाही के चलते युवक की मौत हुई है. स्थानीय प्रशासन के दखल और मुआवजा मिलने के आश्वासन के बाद ग्रामीण माने और धरना प्रदर्शन समाप्त कियाl
खरताना निवासी 38 वर्षीय युवक रतनलाल जाट की पिता भूरा लाल को 22 जुलाई की शाम को गोयल हॉस्पिटल मे भर्ती कराया था। रतनलाल जाट खेत में दवाई का छिड़काव कर रहा था, उसे कारण उसकी तबीयत खराब हो गई थीl अगले दिन 23 तारीख तक की सुबह तक इलाज में कोई सुधार नहीं होने पर परिजनों ने उसे उदयपुर ले जाने के लिए अस्पताल प्रबंधन से कहा. प्रबंधन और मरीज के परिजनों में इस बात को लेकर कहा-सुनी हो गई. युवक के परिजन फतेहनगर पुलिस थाने पहुंच गएl पुलिस के दखल के बाद सुबह करीब 11:30 बजे उसे डिस्चार्ज मिलाl चार दिन उदयपुर के निजी अस्पताल में इलाज के बाद उसे एमबी चिकित्सालय में रेफर किया गया जहां पर बुधवार 30 जुलाई को उसकी मौत हो गई.
डिस्चार्ज नहीं करने पर रतनलालजाट के भाई ने फतहनगर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई
रतनलाल जाट के भाई बाबूलाल जाट ने फतहनगर थाना अधिकारी को 23 जुलाई को परिवाद पेश किया । जिसमें बताया कि उसके भाई रतन लाल की 22 जुलाई को खेत में फसल पर दवाई छिड़कते समय तबीयत खराब हो गई । उसे शाम 7:30 के लगभग गोयल हॉस्पिटल फतहनगर लाए । जहां इलाज किया गया सुबह 6:00 बजे तक तबीयत में सुधार नहीं होने और तबीयत ज्यादा बिगड़ने पर परिजनों ने उदयपुर ले जाने के लिए डिस्चार्ज करने को कहा। तो गोयल हॉस्पिटल के डॉक्टर ने एक और बोतल चढा दी।, जिससे रतन लाल की तबीयत बिगड़ गई। फाइल मांगने पर हॉस्पिटल के डॉक्टर ने मना कर दिया। और तुरंत दूसरी फर्जी फाइल बना दी। बाबूलाल जाट ने ओरिजिनल मांगी तो बदतमीजी करते हुए अपशब्द कहे और पुलिस में फंसाने की धमकी दी। परिजनों ने 100 नंबर पर कॉल किया। फतहनगर थाने से हेड कांस्टेबल कमलेंद्र आए तब जाकर फाइल दी ।साथ ही 3500 रुपए का बिल दिया। 5 घंटे से ज्यादा समय के बाद लगभग 11:15 बजे परिजन रतनलाल को उदयपुर लेकर रवाना हुए। बाबूलाल ने आरोप लगाया की गोयल हॉस्पिटल वाले मरीज को देख भी नहीं रहे थे । सिर्फ बोटल लगाकर छोड़ दी। और समय पर डिस्चार्ज न कर गुमराह करते रहेl
परिजनों का आरोप
परिजनों ने आरोप लगाया कि गोयल हॉस्पिटल के डॉक्टर ने उनकी बात नहीं सुनी और रतनलाल जाट को उदयपुर के लिए रेफर नहीं किया। इसके बजाय, उन्होंने डिस्चार्ज करने से इनकार कर दिया और कहा कि फाइल खो गई है। परिजनों ने एफआईआर दर्ज कराई, जिसके बाद रतनलाल जाट को डिस्चार्ज किया गया। लेकिन तब तक रतनलाल जाट कोमा में चले गए थे।
मौत के बाद विरोध प्रदर्शन
इसके बाद रतनलाल जाट को गीतांजलि हॉस्पिटल उदयपुर ले जाया गया, जहां से उन्हें महाराणा भूपाल हॉस्पिटल में ले जाया गया। 30 तारीख बुधवार को रतनलाल जाट की मौत महाराणा भूपाल हॉस्पिटल उदयपुर में हो गई। मौत के बाद परिजनों ने गोयल हॉस्पिटल के बाहर विरोध प्रदर्शन किया और मुआवजे की मांग की।
पुलिस प्रशासन की कार्रवाई
पुलिस प्रशासन ने परिजनों को शव को गोयल हॉस्पिटल ले जाने से रोकाl परिजनों का आरोप है कि पुलिस कर्मियों ने एंबुलेंस के कांच फोड़ दिए और उन पर लाठियां बरसाईl पुलिस के भारी विरोध के बावजूद परिजन और ग्रामीण कंधे पर ही शव को गोयल हॉस्पिटल लेकर आए, जहां उन्होंने धरना प्रदर्शन किया।
मुआवजे की मांग
परिजनों ने मांग की है कि गोयल हॉस्पिटल के मैनेजमेंट को मुआवजा देना चाहिए, क्योंकि उनकी लापरवाही के कारण रतनलाल जाट की मौत हुई है। रतनलाल जाट के परिवार में 4 साल की बच्ची और पत्नी हैl जिनका भरण पोषण का क्या होगाl इसी मांग करने के लिए परिजनों ने धरना प्रदर्शन किया।