पाकिस्तान ने गुरुवार को भारत के साथ शिमला समझौते और अन्य द्विपक्षीय समझौतों को निलंबित करने का निर्णय लिया, साथ ही सभी प्रकार के व्यापार पर रोक लगा दी और भारतीय एयरलाइनों के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया।
जम्मू और कश्मीर के पहलगाम में 26 लोगों की मौत के जिम्मेदार आतंकवादियों को ‘स्वतंत्रता सेनानी’ करार देने की कोशिश की जा रही है। खबरों के मुताबिक, पाकिस्तान के विदेश मंत्री इशाक डार ने इस बारे में बयान दिया है। फिलहाल, इस पर भारत सरकार की ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है। बुधवार को हुई बैठक में भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ 5 प्रमुख कदम उठाए थे, जिनमें सिंधु जल समझौते को स्थगित करना भी शामिल था।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इस्लामाबाद में पत्रकारों से बातचीत में डार ने कहा, “22 अप्रैल को जम्मू और कश्मीर के पहलगाम जिले में जिन लोगों ने हमला किया, वे स्वतंत्रता संग्राम सेनानी भी हो सकते हैं।”
पाकिस्तान के फैसले
पाकिस्तान ने गुरुवार को भारत के साथ शिमला समझौते और अन्य द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित कर दिया, सभी व्यापारिक गतिविधियों पर रोक लगा दी और भारतीय एयरलाइनों के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया। इसके साथ ही, पाकिस्तान ने कहा कि सिंधु जल संधि के तहत अपने लिए निर्धारित पानी के प्रवाह को रोकने या बदलने का प्रयास युद्ध छेड़ने के समान माना जाएगा।
पाकिस्तान ने वाघा सीमा चौकी को भी बंद कर दिया, दक्षिण एशियाई देशों के वीजा छूट योजना (SVES) के तहत भारतीय नागरिकों को जारी सभी वीजा निलंबित कर दिए हैं, और भारतीय उच्चायोग में सैन्य सलाहकारों को वापस भेजने का आदेश दिया है।
ये घोषणाएं पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की अध्यक्षता में हुई बैठक के बाद की गईं। इस बैठक में शरीफ ने पहलगाम हमले के बाद भारत के कदमों—जैसे सिंधु जल संधि को निलंबित करना और राजनयिक संबंधों को कम करना—के जवाब में पाकिस्तान की उचित प्रतिक्रिया पर विचार करने के लिए सरकार के प्रमुख मंत्रियों और सेना प्रमुखों के साथ बैठक की।