भारत सरकार ने 2027 में होने वाली जनगणना की घोषणा की है, जिसमें पहली बार जातिगत जनगणना भी शामिल की जाएगी। अधिकारियों के मुताबिक, नागरिक एक विशेष वेब पोर्टल के माध्यम से स्वयं अपनी जानकारी दर्ज कर सकेंगे, जो जनगणना के दोनों चरणों के लिए उपलब्ध रहेगा। यह देश की पहली डिजिटल जनगणना होगी, जिसमें गणना कर्मी मोबाइल ऐप के जरिए आंकड़े एकत्रित करेंगे
भारत सरकार ने 2027 में होने वाली जनगणना की घोषणा की है, जो दो चरणों में पूरी की जाएगी और इसमें जातिगत जनगणना भी शामिल होगी। इस संबंध में एक अहम अपडेट सामने आया है। अधिकारियों ने सोमवार (07 जुलाई, 2025) को बताया कि इस बार की जनगणना में नागरिक खुद भी अपनी जानकारी दर्ज कर सकेंगे। इसके लिए एक विशेष वेब पोर्टल लॉन्च किया जाएगा, जो दोनों चरणों के दौरान उपयोग के लिए उपलब्ध रहेगा।
यह भारत की पहली डिजिटल जनगणना होगी, जिसमें गणनाकर्मी एंड्रॉइड और एप्पल दोनों प्रकार के स्मार्टफोन पर मोबाइल ऐप के माध्यम से नागरिकों का डेटा एकत्रित करेंगे। पहली बार नागरिकों को यह सुविधा दी जाएगी कि वे स्वयं वेब पोर्टल के जरिए अपनी जानकारी दर्ज कर सकें।
जनगणना में पहली बार होगा टेक्नोलॉजी का व्यापक उपयोग
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, “डिजिटल जनगणना देश की जनगणना प्रणाली को आधुनिक और कुशल बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है। इस बार पहली बार डेटा संग्रहण और उसे इलेक्ट्रॉनिक रूप से सर्वर तक पहुंचाने के लिए तकनीक का उपयोग किया जाएगा, जिससे आंकड़े अधिक तेजी और सटीकता से उपलब्ध हो सकेंगे.
उन्होंने यह भी बताया कि डेटा कलेक्शन, ट्रांसमिशन और स्टोरेज के दौरान सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाएगी। इसके लिए मजबूत और सख्त डेटा सिक्योरिटी प्रोटोकॉल लागू किए जाएंगे ताकि नागरिकों की जानकारी पूरी तरह से सुरक्षित रहे.
जनगणना कब होगी? जानिए पूरा शेड्यूल
जनगणना प्रक्रिया दो चरणों में पूरी की जाएगी। हाउस लिस्टिंग ऑपरेशन (HLO) की शुरुआत 1 अप्रैल, 2026 से होगी, जबकि जनसंख्या गणना (Population Enumeration) का दूसरा चरण 1 फरवरी, 2027 से शुरू होगा.
इस बार की जनगणना में घर के प्रत्येक सदस्य की जाति से जुड़ी जानकारी भी दर्ज की जाएगी। जनगणना 2027 के लिए संदर्भ तिथि अधिकांश राज्यों के लिए 1 मार्च, 2027 तय की गई है, जबकि केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख, जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड के लिए यह तिथि 1 अक्टूबर, 2026 होगी.